6. संघवाद
6. संघवाद या संघवाद का भौगोलिक आधार
संघवाद ⇒
संघवाद दो शब्दों के मिलने से बना है प्रथम-संघ और दूसरा- वाद। संघ का तात्पर्य एकजूट होने से है। जबकि वाद का तात्पर्य विचारधारा से है। जब राजनैतिक परिप्रेक्ष्य में व्यक्ति, समूह या राज्य आपस में एकजूट होकर विचारधारा को जन्म देते हैं, तो उसे संघवाद कहा जाता है।
विशेषता
संघवाद एक नाजुक समझौता है जो किसी भौगोलिक प्रदेश में निवास करने वाले जनसंख्या की भावनाओं को ध्यान में रखकर राष्ट्र आधारित राज्य की संकल्पना विकसित की जाती है।
संघीय व्यवस्था को प्रभावित करने वाले भौगोलिक कारक:
(1) प्राकृतिक –
(i) उच्चावच
(ii) पर्वत
(iii) जलवायु
(iv) मृदा
(2) मानवीय कारक –
(i) प्रजातीय विविधता
(ii) भाषाई विविधता
(iii) सामाजिक, धार्मिक एवं ऐतिहासिक विविधता
उत्पत्ति
भौगोलिक विविधताओं के चलते ही कुछ राज्य आपस में समझौता कर संघीय व्यवस्था को जन्म देते हैं। अगर वे ऐसा नहीं कर पाते है तो वे अस्थिर, कमजोर राष्ट्र बन जाते हैं। अगर कोई राज्य का भाग अलग-2 भौगोलिक क्षेत्रों में स्थित हो तो वहाँ संघीय व्यवस्था को बनाये रखना मुश्किल हो जाता है। जैसे- 1947 ई० में भारतीय उपमहाद्वीप पर भारत एवं पाकिस्तान नामक दो देशों का जन्म हुआ। लेकिन पाकिस्तान दो भागों में विभक्त था। एक पूर्वी पाकिस्तान और दूसरा पश्चिमी पाकिस्तान कहलाता था। भौगोलिक दूरियों के कारण ही पूर्वी पाकिस्तान पश्चिमी पाकिस्तान के साथ एकीकृत नहीं रह सका। फलत: 1971 ई० में ही वह टूट गया।
अध्ययन
राजनीतिक भूगोल में संघवाद का अध्ययन कई भूगोलवेताओं ने किया है। इनमें O.H. स्पेट, प्रेसकॉट, ब्लिज, पाण्ड्स, R.D. दीक्षित इत्यादि का नाम उल्लेखनीय है।
संघवाद के विकास की अवस्था
संघवाद अचानक विकसित होने वाली राजनैतिक घटना नहीं है। बल्कि संघवाद का विकास कई अवस्थाओं से गुजरने के बाद होता है। इसे नीचे के फ्लो चार्ट में देखा जा सकता है।
एलायंस
⇓
लीग
⇓
कानफेडरेशन
⇓
फेडरेशन (संघीय व्यवस्था)
⇓
एकात्मक राज्य
संघवाद के प्रकार
संघवाद दो प्रकार के होता है-
(1) एकात्मक राज्य
(2) संघात्मक राज्य
संघवाद के विशेषताएँ
(1) एकात्मक राज्यों का विकास छोटे राज्यों में होता है। जबकि संघात्मक राज्यों का विकास बड़े राज्यों में होता है।
(2) एकात्मक राज्य में प्रशासन का एक केन्द्र बिन्दु होता है। जबकि संघात्मक राज्य में प्रशासन पदानुक्रमित होता है।
(3) एकात्मक राज्य में राज्य की सीमा अत्यंत ही कमजोर होती है। जबकि राज्य में राज्य की सीमाएँ स्पष्ट और मजबूत होती है।
(4) संघीय व्यवस्था में सरकार का गठन दो स्तर पर होता है-
(i) केन्द्र सरकार और
(ii) राज्य सरकार
जबकि एकात्मक राज्य में सरकार का गठन एक स्तर पर होता है।
छोटे देशों में मात्र स्वीटजरलैण्ड ऐसा देश है जहाँ पर संघीय व्यवस्था का विकास हुआ है क्योंकि यह देश सात पहाड़ियों के कारण सात भाग में विभक्त है और प्रत्येक भाग की निवासियों की अलग-2 पहचान और अभिव्यक्ति है। दूसरी ओर बड़े-2 देशों में संघीय व्यवस्था का ही विकास हुआ है। कनाडा और ऑस्ट्रेलिया में वृहत क्षेत्रफल के कारण, जर्मनी और नाइजीरिया में वृहत जनसंख्या के कारण, भारत और USA में वृहत जनसंख्या एवं वृहत क्षेत्रफल के कारण संघीय व्यवस्था का विकास हुआ।
किसी भी देश में संघीय व्यवस्था निम्न तथ्यों पर भी निर्भर करती है:-
(i) केन्द्रीय सरकार कितना दूरदर्शी है।
(ii) प्रादेशिक भावना का स्तर क्या है?
(iii) केन्द्र सरकार कितना कठोर या लचीला है?
(iv) आम जनता के द्वारा उठायी गई माँगों को सरकार कितना तरजीह देते है।
निष्कर्ष
इस तरह उपरोक तथ्यों से स्पष्ट है कि भौगोलिक दृष्टिकोण से विविधता रखने वाले राष्ट्रों में संघवाद का विकास हुआ है।
(नोट – संघ = किसी निश्चित उद्देश्य की पूर्ति हेतु एकजुट होना
वाद = विचारधारा)