8. एशिया का पेट्रोलियम के उत्पादन एवं वितरण / Distribution and Production of Petroleum of Asia
8. एशिया का पेट्रोलियम के उत्पादन एवं वितरण
(Distribution and Production of Petroleum of Asia)
एशिया का पेट्रोलियम के उत्पादन एवं वितरण
उत्पादन:
एशिया महाद्वीप विश्व का लगभग 40% खनिज तेल अथवा पेट्रोलियम का उत्पादन करता है। दक्षिणी-पश्चिमी एशिया के तेल उत्पादक देश ईरान, इराक, सऊदी अरब, कुवैत, कतार, बहरीन, टर्की, इजरायल, आदि है। दक्षिणी-पूर्वी एशिया तथा एशियाई रूस में भी तेल का उत्पादन किया जाता है। दक्षिणी-पूर्वी एशिया के पेट्रोलियम उत्पादक देश इण्डोनेशिया, चीन, ब्रूनी, मलेशिया, म्यांमार आदि हैं।
पेट्रोलियम का वितरण (Distribution of Petroleum):
एशिया में खनिज तेल का वितरण निम्नलिखित है-
1. दक्षिणी-पश्चिमी एशिया (South-West Asia):
दक्षिण-पश्चिम एशिया आज केवल एशिया का ही नहीं बल्कि विश्व को सबसे बड़ा पेट्रोलियम उत्पादक क्षेत्र है। यहाँ पर पेट्रोलियम का काफी विशाल भण्डार है। यहाँ तेल के अनेक कुएँ हैं। इन तेल भण्डारो को पाइप लाइन से आपस में जोड़ दिया गया है। यह तेल पाइप भूमध्य सागर के पूर्वी किनारे के तट तक फैले हुए हैं।
हैफा और त्रिपोली बन्दरगाह को इस तेल की बहुत मात्रा इन पाइप लाइन से पहुँचा दी जाती है जहाँ से तेल का निर्यात किया जाता है। ईरान का आबादान तेल शोधन करने का विश्व में सबसे बड़ा केन्द्र है। दक्षिण-पश्चिमी एशिया के प्रमुख तेल क्षेत्र निम्नलिखित हैं –
सऊदी अरब:
संयुक्त राज्य अमेरिका तथा सोवियत रूस के बाद सऊदी अरब विश्व का सबसे बड़ा तेल उत्पादक देश है। यहाँ रासतबूरा पत्तन के समीप दाहरीन क्षेत्र में तेल कूपों का आविष्कार 1936 में हुआ। इसके बाद अबैक्वेक और घावर क्षेत्र की खोज हुई। इस क्षेत्र में पेट्रोलियम उत्पादन फार्म इतनी शीघ्र प्रगति कर गया कि इस देश में पेट्रोलियम उत्पादन मुख्य पेशा बन गया। यहाँ से लेवनान के सिदोन पत्तन तक पाइप लाईन है। यहाँ पेट्रोलियम की सुरक्षित सम्पत्ति अति विशाल है।
यहाँ के प्रमुख तेल क्षेत्र अल खाबर, अवकेक, हाफर, शेदगम, दम्माम सफानिया, कानिफ खुरेस, आबू अली, आबू, हिरेन, फथीली आदि है। रासतनूरा यहाँ का तेल शोधन केन्द्र है। यहां जल की कमी, तापमान की अधिकता, बालू के स्तूपों की प्रचुरता तथा परिवहन सुविधाओं में कमी पेट्रोल के विकास में प्रधान बाधायें है।
ईरान:
सउदी अरब के बाद ईरान एशिया का सबसे बड़ा तेल उत्पादक देश है। लेकिन ईराक-ईरान युद्ध के कारण यहाँ खनिज तेल का उत्पादन काफी गिर गया है। यहाँ 1908 में मस्जिदे सुलेमान पेट्रोल क्षेत्रों के अन्तर्गत पेट्रोल उत्पादन कार्य आरम्भ किया। यहाँ का प्रमुख तेल क्षेत्र आगाजरी, मस्जिदे सुलमान, हफ्ते केल, गाकसरन, नपत खानाह, नपतेशाह, नपते सफीद, लाली, गुलखरी, मारून आदि है।
आबादान और करमन शाह यहाँ के तेल शोधन केन्द्र है। इस देश में पेट्रोल उत्पादन कार्य एंग्लो ईरानी कम्पनी के द्वारा होता था। अंग्रेज और ईरानी सरकार के बीच मतभेद हो जाने पर 1951 में इस कम्पनी का राष्ट्रीयकरण कर लिया जिससे कुछ समय के लिए उत्पादन कार्य ठप्प हो गया। इस कारण 1953 में यहाँ से मात्र 90 लाख वैरल पेट्रोल प्राप्त हुआ। इसके पश्चात् पुन: समझौता हो जाने के बाद पेट्रोल उत्पादन की व्यवस्था पूर्ववत हो गयी।
इराक:
पेट्रोल उत्पादन में इसका स्थान छठा है। 1927 में किरकुक पेट्रोल क्षेत्र के अन्तर्गत बाबागुरगुर स्थान पर पेट्रोल का पता लगा और वहाँ तेल कूप बनाये गये। सन् 1934 तक पेट्रोल उत्पादन में विशेष प्रगति नहीं हो पायी। कुछ वर्ष पूर्व किरकुक से त्रिपोली तथा हैफा पत्तनी तक तेल की पाइप लाइन बिछाई गयी। 1952 में यहाँ से सीरिया के बनेस स्थान तक पाइप लाइन ले जाई गयी।
पेट्रोल उत्पादन के लिए डच, फ्रांसीसी तथा अमेरिकन कम्पनियों को लाइसेंस प्राप्त हुए हैं। प्रतिवर्ष यहाँ लगभग 3.4 करोड़ मीट्रिक टन पेट्रोल उत्पन्न किया जाता है। यहां के प्रमुख तेल क्षेत्र ऐनजलेह, मौसल, केयारा, किरकुक, जाम्बुरी, नहर उमर, जुबैर, रूमैला, बसरा खानविवन आदि है। किरकुक यहाँ का सबसे बड़ा तेल क्षेत्र है। दौरा तथा करमनशाह में तेलशोधक कारखाने हैं। इसक अपने कुल उत्पादन का 80 प्रतिशत तेल निर्यात कर देता है।
कुवैत:
सुरक्षित मात्रा के विचार से इसका संसार में तीसरा स्थान है परन्तु उत्पादन में इसका चौथा स्थान है। यहाँ वर्धन क्षेत्र से पेट्रोल प्राप्त होता है। इस क्षेत्र में पेट्रोल निकालने का लाइसेंस एंग्लो अमेरिकन कम्पनी को प्राप्त हुआ है। यहाँ तेल फारस की खाड़ी के तट के समीप फैला हुआ है। यहाँ के प्रमुख तेल क्षेत्र बरगन, अलजहरा, मगब इत्यादि हैं। बरगन सबसे बड़ा तेल क्षेत्र है। मीना अल अहमदी तेल शोधन केन्द्र तथा निर्यात करने वाला बन्दरगाह है।
कतार:
फारस की खाड़ी के पश्चिमी तट पर स्थित कतार दक्षिणी-पश्चिमी एशिया का महत्वपूर्ण तेल उत्पादक देश है। यहाँ तेल के 24 कुएँ हैं। दूखन तेल क्षेत्र यहाँ का सबसे बड़ा तेल उत्पादक क्षेत्र है। दोहा में तेल शोधक कारखाना है।
बहरीन:
कुवैत और कतार के मध्य स्थित बहरीन फारस की खाड़ी का एक महत्वपूर्ण द्वीप है। यहाँ तटीय क्षेत्र में तेल के अनेक क्षेत्र फैले हुए हैं। बहेसि यहाँ का सबसे बड़ा तेल क्षेत्र है। बहरीन में तेल शोधक कारखाना भी है।
सीरिया:
यहाँ तेल उत्पादन का सबसे बड़ा क्षेत्र बनियास है। यहाँ नये तेल क्षेत्रों का पता लगाने के लिए मनहल कम्पनी काफी प्रयत्न कर रही है। होम्स नगर में तेल शोधन कारखाना है।
टर्की:
यहाँ का तेल क्षेत्र 1,21,000 वर्ग किलोमीटर में विस्तृत है। यहाँ तेल उत्पादक दो क्षेत्र है- (i) रमन और (ii) बरजन। इस क्षेत्र में तेल प्राप्त करने का कार्य सरकार की टर्किश पेट्रोलियम कम्पनी करती है। वरजन तेल क्षेत्र से सन् 1949 ई. में प्रथम बार तेल प्राप्त किया गया। इस क्षेत्र का सम्भावित तेल भण्डार लगभग 525 लाख बैरल है।
विभिन्न योजनाओं में ईरान और तुर्की के बीच 985 कि.मी. लम्बी पाइप लाइन का निर्माण किया। यहाँ दो पम्पिंग स्टेशनों की स्थापना की गयी। इनकी क्षमता 9000 से 10,000 अश्व शक्ति है। यहाँ प्रतिवर्ष 3.56 करोड़ टन कच्चा तेल पम्प करने के लिए प्राप्त होता है।
दक्षिणी-पूर्वी एशिया के तेल:
क्षेत्र दक्षिण-पूर्वी एशिया के देशों में तेल के उत्पादन की बहुत कमी है। इसका कारण यहाँ के तेल भण्डारों में सुरक्षित तेल की मात्रा कम होना है। दक्षिणी-पूर्वी एशिया में इण्डोनेशिया सबसे अधिक तेल का उत्पादन करता है। इस क्षेत्र के प्रमुख देशों के तेल क्षेत्र निम्न प्रकार है –
1. इण्डोनेशिया:
इण्डोनेशिया दक्षिणी पूर्वी एशिया का सबसे बड़ा तेल उत्पादक राष्ट्र है। यहाँ तेल के प्रमुख क्षेत्र सुमात्रा, जावा तथा कालीमण्टन (बोर्नियों) में है। सुमात्रा से पैलेमबाग, मेदन व जाम्बी, कालीमण्टन (बोर्नियों) में बालिक, पापन व तराकन तथा जावा में रेमबाग तथा सुरखाया प्रमुख तेल क्षेत्र हैं। सुमात्रा में मेदन तथा साबाग तेलशोधक केन्द्र है।
2. चीन:
चीन के दक्षिणी भाग में अनेक तेल के क्षेत्र पाए जाते हैं, जिनमें से काराभाई, तुन्शाजे, सैदाम बेसिन, आदि प्रमुख है।
3. म्यांमार:
म्यांमार के प्रमुख तेल क्षेत्र येनाग, सिगू, डण्डो, यनान्मा आदि है। यंगून (रंगून) तथा बेनांगयांग तेल शोधन केन्द्र है। यहाँ से विश्व का लगभग 1% खनिज तेल प्राप्त किया जाता है। यहाँ इरावदी नदी घाटी में तेल के कुएँ खोदे गए है।
4. मलेशिया:
मलेशिया के प्रमुख तेल क्षेत्र साबाह तथा साराबाक है। लुटांग तेल शोधन केन्द्र है।
5. भारत:
यहाँ गुजरात तथा असम राज्य प्रमुख पेट्रोलियम उत्पादक है। मुम्बई के निकट मुम्बई हाई से बड़ी मात्रा में खनिज तेल निकाला जाता है। अभी हाल में गोदावरी डेल्टा में, कावेरी डेल्टा में तथा पश्चिमी राजस्थान में भी खनिज तेल के पर्याप्त भण्डार पाए गये है।
प्रश्न प्रारूप
1. एशिया में पेट्रोलियम के उत्पादन एवं वितरण की विवेचना कीजिए।
(Discuss the production and distribution of petroleum in Asia.)